राज्य सरकार ने तकनीकी पदों पर स्थायी नियुक्ति के लिए एक आयोग गठित करने का फैसला किया है. बिहार राज्य कर्मचारी चयन आयोग के तर्ज पर बिहार राज्य तकनीकी कर्मचारी चयन आयोग का गठन होगा. अब डाटा इंट्री के पद पर संविदा पर या आउटसोर्सिंग के माध्यम के बजाय स्थायी नियुक्ति होगी. विज्ञान एवं प्रावैधिकी विभाग को नोडल विभाग बनाया जायेगा.
संविदा पर कार्यरत लोगों को वेटेज
शुक्रवार को मुख्य सचिव अशोक कुमार सिन्हा की अध्यक्षतावाली प्राधिकृत समिति की बैठक में इस पर सहमति बनी. दंत चिकित्सा सेवा नियमावली के प्रारूप पर भी समिति ने मुहर लगा दी है. डाटा इंट्री के पद पर सात हजार लोगों को स्थायी रूप से नियुक्त किया जायेगा. उन्हें नियमित वेतनमान मिलेगा. अब तक जितने भी डाटा इंट्री ऑपरेटर संविदा पर कार्यरत हैं, उन्हें स्थायी नियुक्ति में वेटेज दिया जायेगा. इसमें कार्य अनुभव और अवधि को अधिमानता दी जायेगी. सरकार का मानना है कि डाटा इंट्री ऑपरेटर के पद पर बेल्ट्रॉन के माध्यम से विभागों में आउटसोर्सिंग के आधार पर सेवा ली जा रही है, लेकिन उनके साथ न्याय नहीं हो रहा है. इसलिए उनकी स्थायी नियुक्ति होगी. इसके अलावा आइटी मैनेजर की भी अब स्थायी नियुक्ति होगी. वर्तमान में कार्यरत आइटी मैनेजरों को स्थायी नियुक्ति में वेटेज दिया जायेगा.
कैसे होगी बहाली
अब इन पदों पर स्थायी नियुक्ति के लिए वर्ष में दो बार लिखित परीक्षा होगी. लिखित परीक्षा से उत्तीर्ण अभ्यर्थियों का अब साक्षात्कार नहीं होगा. लिखित परीक्षा के बाद संविदा पर नियुक्त कर्मी को नियुक्ति में कार्य अनुभव और आर्य अवधि का वेटेज दिया जायेगा.
इन पदों पर होनी है बहाली
संविदा पर कार्यरत लोगों को वेटेज
शुक्रवार को मुख्य सचिव अशोक कुमार सिन्हा की अध्यक्षतावाली प्राधिकृत समिति की बैठक में इस पर सहमति बनी. दंत चिकित्सा सेवा नियमावली के प्रारूप पर भी समिति ने मुहर लगा दी है. डाटा इंट्री के पद पर सात हजार लोगों को स्थायी रूप से नियुक्त किया जायेगा. उन्हें नियमित वेतनमान मिलेगा. अब तक जितने भी डाटा इंट्री ऑपरेटर संविदा पर कार्यरत हैं, उन्हें स्थायी नियुक्ति में वेटेज दिया जायेगा. इसमें कार्य अनुभव और अवधि को अधिमानता दी जायेगी. सरकार का मानना है कि डाटा इंट्री ऑपरेटर के पद पर बेल्ट्रॉन के माध्यम से विभागों में आउटसोर्सिंग के आधार पर सेवा ली जा रही है, लेकिन उनके साथ न्याय नहीं हो रहा है. इसलिए उनकी स्थायी नियुक्ति होगी. इसके अलावा आइटी मैनेजर की भी अब स्थायी नियुक्ति होगी. वर्तमान में कार्यरत आइटी मैनेजरों को स्थायी नियुक्ति में वेटेज दिया जायेगा.
कैसे होगी बहाली
अब इन पदों पर स्थायी नियुक्ति के लिए वर्ष में दो बार लिखित परीक्षा होगी. लिखित परीक्षा से उत्तीर्ण अभ्यर्थियों का अब साक्षात्कार नहीं होगा. लिखित परीक्षा के बाद संविदा पर नियुक्त कर्मी को नियुक्ति में कार्य अनुभव और आर्य अवधि का वेटेज दिया जायेगा.
इन पदों पर होनी है बहाली
- डाटा इंट्री ऑपरेटर 7000
- अमीन 3000
- पारा मेडिकल 15000
- समाहरणालय लिपिकीय संवर्ग 10000
- आइटी मैनेजर 300
इन पदों के अलावा वन विभाग में वनपाल, फॉरेस्ट गार्ड और अन्य विभागों में लिपिकीय संवर्ग पर नियुक्ति होगी. जिसकी रिक्तियां विभागो ंको देने के लिए कहा गया है.साल में दो बार परीक्षा को हरी झंडी
मुख्य सचिव एके सिन्हा की अध्यक्षता में हुई बिहार लोक सेवा आयोग और बिहार कर्मचारी चयन आयोग की संयुक्त बैठक में तय किया गया कि यूपीएससी के तर्ज पर राज्य में भी नियुक्ति के लिए वार्षिक कैलेंडर जारी किया जायेगा. खाली पदों पर स्थायी नियुक्ति के लिए साल में दो बार परीक्षा होगी. ग्रुप सी के पदों के लिए साक्षात्कार नहीं होगा. सरकार ने ग्रुप सी के पद पर नियुक्ति के लिए मैट्रिक के बजाय इंटर निर्धारित करने का फैसला ले लिया है. अब तक 46 विभागों में से 15 विभागों ने सेवा संवर्ग नियमावली का गठन कर लिया है. शेष विभागों को इस माह के अंत तक संवर्ग सेवा नियमावली गठित कर लेने का निर्देश दिया गया है.
News Sources :: http://epaper.prabhatkhabar.com/epapermain.aspx?pppp=1&queryed=11&eddate=12/7/2013%2012:00:00%20AM
Oh La La ...
ReplyDeleteDude it's Election time ...
nice information provided by blog admin. Thanks. But ye chunawi funda lagta hai ....
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